कबीरधाम, छत्तीसगढ़:
कबीरधाम जिले के भोरमदेव थाना क्षेत्र से एक चौंकाने वाला साइबर ठगी का मामला सामने आया है, जहां भोरमदेव कृषि केंद्र की संचालक नामदेव साहू को ढाई करोड़ रुपए की धोखाधड़ी के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। पुलिस और साइबर टीम की जांच में यह खुलासा हुआ कि आरोपी ने म्यूल अकाउंट के जरिए 16 राज्यों के दर्जनों लोगों से करोड़ों की ठगी की है।
ICICI बैंक खाते से हुआ था संदिग्ध लेन-देन
आरोपी नामदेव साहू ने अपने कृषि केंद्र के नाम पर एक ICICI बैंक में खाता खुलवाया था। वर्ष 2023-24 के दौरान इस खाते से करीब 2.50 करोड़ रुपए का लेनदेन हुआ, जो सामान्य व्यापारिक गतिविधियों से मेल नहीं खा रहा था। साइबर टीम को इस पर संदेह हुआ और मामले की गहराई से जांच शुरू की गई।
70 लाख से अधिक की पुष्टि, शेष पर जांच जारी
पुलिस जांच में अब तक 70 लाख 27 हजार रुपए की साइबर ठगी की पुष्टि हो चुकी है। आरोपी ने अलग-अलग राज्यों के 56 लोगों के बैंक खाते किराए पर लेकर उन्हें म्यूल अकाउंट के रूप में इस्तेमाल किया और पैसे की हेराफेरी की। शेष बड़ी रकम के भी ठगी से जुड़ा होने की आशंका जताई जा रही है।
16 राज्यों में फैला साइबर जाल
ठगी का यह जाल आंध्रप्रदेश, बिहार, चंडीगढ़, दिल्ली, गोवा, गुजरात, हरियाणा, कर्नाटक, केरल, मध्यप्रदेश, महाराष्ट्र, पंजाब, तमिलनाडु, तेलंगाना, उत्तरप्रदेश और पश्चिम बंगाल जैसे 16 राज्यों तक फैला हुआ है। इन राज्यों में कुल 56 साइबर अपराध के मामले आरोपी से जुड़े पाए गए हैं।
आरोपी पर पूर्व में भी है गबन का मामला
नामदेव साहू के खिलाफ पूर्व में लोहारा थाना में 1 करोड़ 90 लाख रुपए के गबन का मामला दर्ज है। इस नई गिरफ्तारी के साथ पुलिस अब यह जांच कर रही है कि आरोपी ने किन-किन तरीकों से लोगों को झांसे में लिया और अपराध को अंजाम दिया।
मास्टरमाइंड 'सत्या' की तलाश
पुलिस ने इस साइबर नेटवर्क में सहयोग करने वाले दूसरे आरोपी सत्यनारायण दुबे उर्फ सत्या की तलाश तेज कर दी है। माना जा रहा है कि सत्या ही इस पूरे नेटवर्क का मास्टरमाइंड है। फिलहाल पुलिस की टीम आरोपी से पूछताछ कर रही है और घटनाओं की कड़ियां जोड़ने में लगी है।
क्या है म्यूल अकाउंट?
म्यूल अकाउंट वे बैंक खाते होते हैं जिन्हें असली खाताधारक किराए पर देता है, और फिर उनका इस्तेमाल अवैध रूप से पैसे ट्रांसफर करने के लिए किया जाता है। इस मामले में भी आरोपी ने जानबूझकर ऐसे खातों का निर्माण और उपयोग किया।
पुलिस की अपील
पुलिस का कहना है कि अभी भी कई पीड़ित लोग जानकारी के अभाव, शर्म या कानूनी प्रक्रिया की जटिलताओं के कारण सामने नहीं आ रहे हैं। अधिकारियों ने लोगों से अपील की है कि यदि वे भी इस तरह की ठगी का शिकार हुए हैं, तो वे सामने आकर शिकायत दर्ज करवाएं।
यह मामला प्रदेश में साइबर क्राइम के बढ़ते प्रभाव और उसके नए-नए तरीकों की ओर इशारा करता है। पुलिस की टीम अब इस पूरे नेटवर्क की परतें खोलने में जुटी है और जल्द ही और गिरफ्तारियों की संभावना जताई जा रही है।