तेज आंधी ने मचाई तबाही: 4 घंटे अंधेरे में डूबा भिलाई-दुर्ग, पेड़ और बिजली पोल गिरे, जनजीवन अस्त-व्यस्त

 तेज आंधी ने मचाई तबाही: 4 घंटे अंधेरे में डूबा भिलाई-दुर्ग, पेड़ और बिजली पोल गिरे, जनजीवन अस्त-व्यस्त

दुर्ग/भिलाई। गुरुवार शाम करीब 4:30 बजे अचानक आई तेज आंधी और बारिश ने पूरे जिले में हड़कंप मचा दिया। जबरदस्त तूफान के साथ ओलों की बरसात ने मानो शहर को झकझोर कर रख दिया। आंधी इतनी तीव्र थी कि बड़े-बड़े पेड़ उखड़ कर बिजली के खंभों पर जा गिरे, जिससे कई इलाकों की बिजली आपूर्ति ठप हो गई।

4 घंटे का अंधेरा, जनता बेहाल

भिलाई, दुर्ग, रुआंबांधा, बघेरा, पुलगांव, कुहारी, अमलेश्वर, रानीतराई और धमधा बोरी जैसे इलाके पूरी तरह अंधेरे में डूब गए। रानीतराई में तो एक बिजली का पोल टूट कर सड़क पर ही गिर गया, जिससे आवागमन भी प्रभावित हुआ। लोग 8:30 बजे तक बिजली बहाल होने का इंतजार करते रहे।

सब स्टेशन और फीडर ट्रिप हुए

33 केवी नेहरू नगर और स्मृति नगर सब स्टेशन में तेज हवा के कारण ट्रिपिंग हुई। पावर हाउस जोन और जवाहर नगर जोन-4 में भी सभी फीडर बंद हो गए। दुर्ग टाउन और बोरसी जोन की 11 केवी आपूर्ति भी पूरी तरह से बाधित रही।

बिजली कंपनी ने संभाला मोर्चा

जैसे ही तूफान थमा, बिजली विभाग की टीमें सक्रिय हो गईं। दुर्ग नगर संभाग के 13 सब स्टेशनों से स्टैंडबाय 33 केवी लाइन से सप्लाई को डायवर्ट कर कुछ हद तक बिजली व्यवस्था बहाल की गई। अधिकारियों के मुताबिक, अधिकांश नुकसान पेड़ों और पोल के गिरने से हुआ है।

बेमेतरा-गंडई मार्ग बंद, वाहन पलटे

बेमेतरा, गंडई, आरिया और दुर्ग मार्ग पर गिरे पेड़ों के कारण रास्ते कुछ घंटों तक पूरी तरह बंद रहे। हवा इतनी तेज थी कि खड़ी गाड़ियां तक पलट गईं।

गनीमत रही, कोई जनहानि नहीं

इस पूरे घटनाक्रम में राहत की बात यह रही कि किसी तरह की जनहानि की खबर नहीं है। लेकिन इस तूफान ने यह जरूर जता दिया कि मौसम का मिजाज अब चेतावनी लेकर आता है।



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